Monday, January 7, 2013

Today's Indian Democracy भारतीय प्रजातान्त्रिक स्तिथि

Democracy

सरकार एक के बाद एक घोटाले पे घोटाले किये जा रही है
जैसे जनता के चेहरों पे तमाचों पे तमाचे दिए जा रही है !

कही आग लगायी जा रही है  कही सुलगाई जा रही है 
हर एक काम के निशाँ अब मिटाए जा रहे है 
कहीं कई कट रहे है , कहीं कई  मर रहे है ,
सारी  दरिंदगी को अब , ये सेक्युलर कह रहे है !

ऐ दगाबाजों तुमसे,-कुछ शहर में और सजर में लड़ रहे है 
हर एक रूह अब तुम्हारी दास्ताँ- ऐ- मौत लिखने  तरस रही है 
हर एक हिंद्परस्त अब फेसबुक यही शेयर कर रहा है ,
कर लो जितनी है ज्यादती करनी  ...तू जल्द ही मर रही है !

ये जो इन्कलाब की आगाज़ , एक यलगार सी लगती है ,
और आज कल मै एक ख्वाब देखता हूँ --
ये  जूनून सरजमीं में जारी रहा,
और मक़ामी, सफ़ेद पोश दरिंदो को  बेत्ख्त कर रहे है !!!


Theme:  A threnody describing  the current political situations in India and belief of overcoming it
pic source: http://progreso-weekly.com

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